भगवान के द्वारा मेरे लिये जो कुछ भी विधान होगा वह मंगलमय हो होगा। पूरी
परिस्थिति मेरी समझ में आये या न आये यह बात दूसरी है, पर भगवान का विधान तो
मेरे लिए कल्याणकारी ही है, इसमें कोई सन्देह नहीं। इसलिए जो कुछ होता है वह
मेरे कर्मों का फल नहीं है, प्रत्युत भगवान के द्वारा कृपा करके केवल मेरे हित
के लिए भेजा हुआ विधान है।
Thursday, November 4, 2010
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